बिजऩेस रेमेडीज/नई दिल्ली
ओएनजीसी और इंडियन ऑयल कॉर्पोरेशन लिमिटेड (आईओसीएल) ने विंद्यम बेसिन में हट्टा गैस फील्ड के नजदीक छोटे पैमाने का लिक्विफाईड नैचुरल गैस (एलएनजी) प्लांट स्थापित करने के लिए एक समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए। हट्टा एलएनजी प्लांट की स्थापना विंद्यम बेसिन को श्रेणी 2 से श्रेणी 1 के बेसिन में अपग्रेड कर देगी। समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर नई दिल्ली के दीनदयाल उर्जा भवन में किए गए, इस अवसर पर डायरेक्टर (प्लानिंग एण्ड बिजनेस डेवलपमेन्ट), आईओसीएल, सुजोय चौधरी और डायरेक्टर (एक्सप्लोरेशन) ओएनजीसी, सुषमा रावत मौजूद रहे।
प्लांट में पारम्परिक जीवाश्म ईंधन के स्वच्छ विकल्प- एलएनजी के उत्पादन के लिए आधुनिक तकनीकों का उपयोग किया जाएगा। यह प्लांट कार्बन उत्सर्जन में कमी लाने और भारत के जलवायु परिवर्तन उन्मूलन लक्ष्यां को हासिल करने में योगदान देगा।
हट्टा की यह खोज पांच दशकों के सतत अन्वेषण प्रयासों का परिणाम है। ओएनजीसी ने हट्टा क्षेत्र में अपनी सम्पत्ति के मौद्रीकरण के लिए अपनी फील्ड विकास योजना (एफडीपी) को डायरेक्टोरेट जनरल ऑफ हाइड्रोकार्बन (डीजीएच) के समक्ष प्रस्तुत कर दिया है।
मध्य प्रदेश के हट्टा में छोटे पैमाने के एलएनजी प्लांट के लिए ओएनजीसी और इंडियन ऑयल के बीच ‘नॉन-बाइंडिंग एमओयू’ भारत के स्थायी एवं समृद्ध भविष्य की दिशा में दूरदर्शी कदम है। देश उर्जा के लिए आत्मनिर्भरता के पथ पर बढ़ रहा है, ऐसे में हट्टा का एलएनजी प्लांट हरित कल के लिए इनोवेशन, सहयोग एवं प्रतिबद्धता का प्रतीक है।
