बिजनेस रेमेडीज/नई दिल्ली। भारत में कारखानों से डीलरों तक यात्री वाहनों की आपूर्ति पिछले महीने दोगुने से अधिक हो गई। हालांकि, यह आंकड़ा पिछले वर्ष मई की तुलना में है, जब कोरोना महामारी से आर्थिक गतिविधियां पूरी तरह से ठप थीं।
वाहन विनिर्माताओं के संगठन सियाम (सोसाइटी ऑफ इंडियन ऑटोमोबाइल मैनुफैक्चरर्स) ने कहा कि पिछले महीने यात्री वाहनों की थोक बिक्री बढ़कर 2,51,052 इकाई हो गई जो मई 2021 में 88,045 इकाई थी। मई 2022 में कुल यात्री वाहनों, दो पहिया वाहनों, तिपहिया वाहनों और क्वाड्रीसाइकिल की 19,65,541 इकाइयों का उत्पादन हुआ। एक साल पहले इसी महीने में यह 8,08,755 इकाई था।
दो-पहिया वाहनों की बिक्री 12,53,187 पर पहुंची: वहीं, मई में दो-पहिया वाहनों की बिक्री बढ़कर 12,53,187 इकाई हो गई। पिछले वर्ष मई में यह आंकड़ा 3,54,824 इकाई था। इसी प्रकार तिपहिया वाहनों की कुल आपूर्ति पिछले महीने 28,542 थी। मई 2021 में यह 1,262 इकाई थी। मई 2022 में यात्री वाहनों, दो-पहिया वाहनों और तीन पहिया वाहनों की कुल 15,32,809 इकाइयां बिकीं। जबकि मई 2021 में यह संख्या 4,44,131 इकाई थी।
बिक्री अब भी साल 2018 के स्तर से कम: सियाम के महानिदेशक राजेश मेनन ने कहा, ”मई 2022 में दो-पहिया और तिपहिया वाहनों की बिक्री में नरमी बनी रही, बल्कि क्रमश: नौ साल और 14 साल पहले जितनी बिक्री हुई थी, यह उससे भी कम रही।उन्होंने कहा कि यात्री वाहन क्षेत्र में बिक्री अब भी साल 2018 के स्तर से कम है।
ब्याज दरें बढऩे से मांग होगी प्रभावित: मेनन ने कहा, ”सरकार ने हाल में जो हस्तक्षेप किए हैं, वे आपूर्ति पक्ष की चुनौतियों को कम करने में मददगार होंगे। लेकिन आरबीआई ने रेपो दरों में दूसरी बार वृद्धि कर दी है, वहीं थर्ड पार्टी बीमा दरों में भी वृद्धि हुई है, यह ग्राहकों के लिए चुनौतीपूर्ण है और इससे मांग प्रभावित होगी।